281 ऋषि प्रसादः मई 2016

सांसारिक, आध्यात्ममिक उन्नति, उत्तम स्वास्थ्य, सांँस्कृतिक शिक्षा, मोक्ष के सोपान – ऋषि प्रसाद। हरि ओम्।

सत्शिष्य फैलाते सद्गुरु का ज्ञानप्रकाश


  (संत कबीर जयंतीः 20 जून 2016) हृदय की बात जानने वाला सत्शिष्य पंचगंगा घाट पर सभी संत आध्यात्मिक चर्चा कर रहे थे। अंदर गुफा में बैठ के स्वामी रामानंद जी मानसिक पूजा कर रहे थे। वे पूजा की सभी सामग्री एकत्र कर नैवेद्य आदि सब चढ़ा चुके थे। चंदन मस्तक पर लगाकर मुकुट भी …

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भगवान को सौंपकर निर्भार हो जाओ !


  एक साधु भिक्षा लेने एक घर में गये। उस घर में माई भोजन बना रही थी और पास में बैठी उसकी लगभग 8 वर्ष की पुत्री बिलख-बिलख कर रो रही थी। साधु का हृदय करुणा से भर गया, वे बोलेः “माता ! यह बच्ची क्यों रो रही है ?” माँ भी रोने लगी, बोलीः …

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परहित के लिए विपत्ति मोल लेते हैं संत-महापुरुष


उस समय कोसल देश में सूर्यवंश के राजा ध्रवुसंधि का राज था। उनकी दो रानियाँ थीं – मनोरमा और लीलावती। मनोरमा का पुत्र सुदर्शन बड़ा भाई और लीलावती का पुत्र शत्रुजित छोटा भाई था। कुछ समय बाद राजा की असमय मृत्यु हो गयी। सुदर्शन के नाना कलिंग नरेश वीरसेन और शत्रुजित के नाना उज्जैन नरेश …

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