051 ऋषि प्रसादः मार्च 1997

सांसारिक, आध्यात्मिक उन्नति, उत्तम स्वास्थ्य, साँस्कृतिक शिक्षा, मोक्ष के सोपान – ऋषि प्रसाद। हरि ओम्।

वास्तविक सुख किस में ?


पूज्यपाद संत श्री आसारामजी बापू मच्चित्ता गद् गतप्राणा बोधयन्तः परस्परम्। कथयन्तश्च मां नित्यं तुषयन्ति च रमन्ति च।। ʹनिरन्तर मुझमें मन लगाने वाले और मुझमें ही प्राणों को अर्पण करने वाले भक्तजन, सदा ही मेरी भक्ति की चर्चा के द्वारा, आपस में मेरे प्रभाव सहित मेरा कथन करते हुए संतुष्ट होते हैं और मुझ वासुदेव में …

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श्रद्धा सब धर्मों में जरूरी


पूज्यपाद संत श्री आसारामजी बापू ʹनारद पुराणʹ में आता है कि श्रद्धा से ही भगवान संतुष्ट होते हैं। श्रद्धापूर्णाः सर्वधर्मा मनोरथफलप्रदाः। श्रद्धया साध्यते सर्वं श्रद्धया तुष्यते हरिः।। ʹनारद ! श्रद्धापूर्वक आचरण में लाये हुए ही सब धर्म मनोवांछित फल देने वाले होते हैं। श्रद्धा से ही सब कुछ सिद्ध होता है और श्रद्धा से भगवान …

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शरीर स्वास्थ्य


दही दही की प्रकृति (तासीर) गर्म होती है। इसमें प्रोटीन की मात्रा अधिक होती है। दही जमने की प्रक्रिया में ʹबीʹ विटामिन विशेषकर थायमिन, रिबोफ्लेबीन और निकोटेमाइड की मात्रा दुगुनी हो जाती है। विशेषतः दूध की अपेक्षा दही सरलता से पच जाता है। उच्च रक्तदाब, मोटापा तथा गुर्दे (किडनी) की बीमारियों में दही अत्यधिक लाभप्रद …

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