श्राद्ध पक्ष

जो श्रद्धा से दिया जाये उसे श्राद्ध कहते हैं।

Shraaddh Paksh
 
 
पितृ पक्ष कैलेंडर 2024

 (श्राद्ध पक्ष - 17 सितम्बर से 2 अक्टूबर 2024) 

▪️ 17 सितम्बर 2024, मंगलवार- पूर्णिमा का श्राद्ध महालय श्राद्धारम्भ 
▪️ 18 सितम्बर 2024, बुधवार - प्रतिपदा का श्राद्ध
▪️ 19 सितम्बर 2024, गुरुवार - द्वितीया का श्राद्ध
▪️ 20 सितम्बर 2024, शुक्रवार - तृतीया का श्राद्ध
▪️ 21 सितम्बर 2024, शनिवार - चतुर्थी का श्राद्ध
▪️ 22 सितम्बर 2024,  रविवार - पंचमी का श्राद्ध
▪️ 23 सितम्बर 2024, सोमवार - षष्ठी व सप्तमी का श्राद्ध
▪️ 24 सितम्बर 2024, मंगलवार  - अष्टमी का श्राद्ध
▪️ 25 सितम्बर 2024, बुधवार - नवमी का श्राद्ध
▪️ 26 सितम्बर 2024, गुरुवार - दशमी का श्राद्ध
▪️ 27 सितम्बर 2024, शुक्रवार - एकादशी का श्राद्ध
▪️ 29 सितम्बर 2024, रविवार - द्वादशी का श्राद्ध
▪️ 30 सितम्बर 2024, सोमवार - त्रयोदशी का श्राध्द
▪️ 1 अक्टूबर 2024, मंगलवार- चतुर्दर्शी का श्राध्द आग-दुर्घटना-अस्त्र-शस्त्र- अपमृत्यु से मृतक का श्राद्ध
▪️ 2 अक्टूबर 2024, बुधवार - अमावश्या का श्राध्द व  सर्वपित्री अमावस्या (अज्ञात तिथीवालों का श्राध्द)

श्राद्ध पक्ष का संदेश

भगवान कहते हैं : ‘वैदिक रीति से अगर आप मेरे स्वरूप को नहीं जानते हो तो श्रद्धा के बल से जिस-जिस देवता के, पितर के निमित्त जो भी कर्म करते हो, उन-उनके द्वारा मेरी ही सत्ता-स्फूर्ति से तुम्हारा कल्याण होता है । देवताओं को पूजनेवाले देवताओं को प्राप्त होते हैं, पितरों को पूजनेवाले पितरों को प्राप्त होते हैं, भूतों को पूजनेवाले भूतों को प्राप्त होते हैं और मेरा पूजन करनेवाले भक्त मुझको ही प्राप्त होते हैं । इसलिए मेरे भक्तों का पुनर्जन्म नहीं होता ।‘ अतः श्राद्ध तो करो लेकिन ‘पितरों में, देवताओं में जो सत्ता है, वह मेरे प्रभु की है ।‘ प्रभु की सत्ता सर्वत्र देखने से सर्वेश्वर प्रभु की स्मृति हो जायेगी । आपका कर्म परमात्मा को संतुष्ट करनेवाला हो जायेगा ।

 

Downloads

Articles

Books

Audios

Videos

Downloads for Seva