089 ऋषि प्रसादः मई 2000

सांसारिक, आध्यात्मिक उन्नति, उत्तम स्वास्थ्य, साँस्कृतिक शिक्षा, मोक्ष के सोपान – ऋषि प्रसाद। हरि ओम्।

पुदीना


चटनी के रूप में प्रयुक्त किया जाने वाला पुदीना एक सुगंधित एवं उपयोगी औषधि है। आयुर्वेद के मतानुसार पुदीना स्वादिष्ट, रुचिकर, पचने में हल्का, तीक्ष्ण, तीखा, कड़वा, पाचनकर्त्ता, उल्टी मिटाने वाला, हृदय को उत्तेजित करने वाला, विकृत कफ को बाहर लाने वाला, गर्भाशय-संकोचक, चित्त को प्रसन्न करने वाला, जख्मों को भरने वाला, कृमि, ज्वर, विष, …

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जीवन्मुक्त के लक्षण


संत श्री आसाराम जी बापू के सत्संग-प्रवचन से जीते जी जिन्हें अपने वास्तविक स्वरूप का निश्चय हो गया है, जिन्होंने अपने साक्षीस्वरूप का अनुभव कर लिया है एवं ʹइस ब्रह्माण्ड तथा अनंत ब्रह्माण्डों में मेरे सिवा दूसरा कोई तत्त्व नहीं है….ʹ ऐसा जिन्हें बोध हो गया है, वे जीवन्मुक्त हैं। ऐसे महापुरुष समस्त व्यवहार करते …

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छोड़ो आशा-तृष्णा को….


संत श्री आसाराम जी बापू के सत्संग-प्रवचन से श्रीमद् आद्यशंकराचार्य ने कहा हैः अंगं गलितं मुण्डं दशनविहीनं जातं तुण्डम्। वृद्धो याति गृहीत्वा दण्डं तदपि न मुञ्चत्याशा पिण्डम्।। ʹअंग गलित हो गये, सिर के बाल पक गये, मुँह में दाँत नहीं रहे, बूढ़ा हो गया, लाठी लेकर चलने लगा फिर भी आशा पिण्ड नहीं छोड़ती।ʹ (चर्पटपंजरिका …

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