जोधपुर सत्र न्यायालय में 13, 15, 16 व 17 अप्रैल 2015 को श्री उदय संगाणी के बयान हुए। इन्होंने पूज्य बापू जी के ऊपर हो रहे षड्यंत्र की सच्चाई न्यायालय के सामने रखी और समाज व देश के कल्याण के लिए बापू जी द्वारा दिये गये योगदान के बारे में बताया। बयान के मुख्य अंशः
पिछले 50 वर्षों से पूज्य बापू जी के द्वारा समाजोत्थान हेतु अनेकानेक कार्यक्रम चलाये जा रहे हैं। जगह-जगह पर सत्संग होते हैं और उनमें बापू जी लोगों से नशा छुड़वाते हैं। पूज्य बापू जी से प्रेरित होकर लाखों लोगों ने बीड़ी, तम्बाकू, सिगरेट, शराब आदि छोड़ दिये। यहाँ तक कि बापू जी सत्संग में चाय एवं कोल्ड ड्रिंक्स से होने वाले नुक्सान भी बताते हैं, जिससे लोगों ने चाय व कोल्ड ड्रिंक्स भी पीना छोड़ दिया है।
आदिवासी क्षेत्रों में समय-समय पर भंडारे होते हैं। उनको अन्न, वस्त्र तथा अन्य जीवनोपयोगी चीजें दी जाती हैं। कइयों को मकान भी बनवा के दिये गये हैं।
पिछड़े क्षेत्रों में जहाँ धर्मांतरण होता था, वहाँ जाकर बापू जी ने लोगों को जागृत किया और बापू जी की प्रेरणा से हजारों लोगों ने फिर से हिन्दू धर्म अपनाया है, इसीलिए धर्मांतरण वाले लोग बापू जी से ईर्ष्या करते हैं।
आश्रम द्वारा देशभर में अनेक गौशालाएँ चलायी जा रही हैं। इनमें कत्लखाने ले जाने से बचायी गयी हजारों गायों का भी पालन-पोषण व रक्षण किया जा रहा है। यहाँ हजारों दूध न देने वाली और बीमार गायें भी पोषित होती हैं।
पूज्य बापू जी हमेशा से अपने सत्संगों में कन्या भ्रूणहत्या एवं समस्त भ्रूणहत्या को रोकने के बारे में जोर देते रहे हैं। बापू जी द्वारा नारी सशक्तिकरण के लिए ‘महिला उत्थान मंडलों’ की स्थापना की गयी है, जिनके माध्यम से महिलाओं की जागृति व उत्थान के विभिन्न प्रकल्प सतत चलाये जाते हैं।
14 फरवरी को वेलेंटाईन डे की जगह ‘मातृ-पितृ पूजन दिवस’ मनाने की प्रेरणा बापू जी ने दी, जिसे हर जगह पर मनाया जा रहा है और राष्ट्रपति, केन्द्रीय मंत्रियों, मुख्यमंत्रियों, राज्यपालों इत्यादि ने इसी भूरि-भूरि प्रशंसा की है। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री श्री रमन सिंह जी ने अपने राज्य के हर शासकीय विद्यालय में इसे अनिवार्य घोषित कर दिया है।
अनेक प्रधानमंत्री (पूर्व प्रधानमंत्री स्व. श्री गुलजारी लाल नंदा, श्री चंद्रशेखर, श्री अटल बिहारी वाजपेयी, श्री एच.डी.देवगौड़ा तथा वर्तमान प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी) पूज्य बापू जी के सत्संग से लाभान्वित हुए हैं। पूर्व राष्ट्रपति श्रीमति प्रतिभा पाटील एवं डॉ. ए.पी.जे. अब्दुल कलाम ने आश्रम के सेवाकार्यों की प्रशंसा की है।
वर्ष 2008 में अहमदाबाद गुरुकुल के दो बच्चों के पानी में डूबने से आकस्मिक मृत्यु हुई थी। उस समय ऐसी अफवाह फैलायी गयी थी कि उन बच्चों की तांत्रिक विधि से हत्या की गयी है। मीडिया में भी इस केस को बहुत उछाला गया था। उस समय से ही आश्रम एवं बापू जी के विरूद्ध षड्यंत्र किये जा रहे हैं। अमृत प्रजापति, महेन्द्र चावला, राजू चांडक आदि ने मीडिया में ऐसे झूठे बयान दिये कि ‘आश्रम में तांत्रिक विधि होती है।’
उस समय सी.आई.डी. क्राइम के डिटेक्टिव पुलिस इन्स्पैक्टर ने अखबारों में यह सूचना छपवायी थी कि ‘जिस-किसी को आश्रम की कोई भी अनैतिक गतिविधियों के बारे में कुछ भी पता हो तो वे आकर हमें बतायें। उनके नाम गुप्त रखे जायेंगे और उन्हें इनाम भी दिया जायेगा।’ पर कोई भी बयान देने नहीं आया। यह बात जाँच अधिकारी ने गुजरात उच्च न्यायालय के समक्ष दिये शपथपत्र में कही है। साथ में यह भी कहा है कि वे और उनके उच्च अधिकारी श्री जी.एस. मलिक (डी.आई.जी. क्राइम) एफ.एस.एल. के अधिकारी, फोटोग्राफर, विडियोग्राफर ने जाकर पूरे आश्रम के एक-एक कमरे एवं चप्पे की जाँच की पर तांत्रिक विधि के संदर्भ में कोई भी सबूत प्राप्त नहीं हुए। सर्वोच्च न्यायालय में इस मुद्दे पर कहा गया था कि ‘आश्रम में किसी प्रकार के कोई भी तांत्रिक विधि के सबूत प्राप्त नहीं हुए।’ इन्हीं षड्यंत्रकारियों ने उस समय इस मुद्दे को जोर-शोर से उछाला था, जो अंततः झूठा साबित हुआ।
8 अगस्त 2008 को अमृत प्रजापति, महेन्द्र चावला, राजू चांडक आदि ने मिल के आश्रम में बापू जी के नाम से फैक्स किया कि ‘एक सप्ताह के अंदर हमें 50 करोड़ रूपये दे दो अन्यथा तुम और तुम्हारा परिवार जेल की हवा खाने को तैयार हो जाओ। बनावटी मुद्दे तैयार हैं, तुम्हें पैसों की हेराफेरी में, जमीनी एवं लड़कियों के झूठे केसों में फँसायेंगे।’
उसके बाद अब तक कई बार ऐसे प्रयास किये गये, कई लड़कियों को भी भेजा गया पर उनके प्रयास असफल रहे। यह केस भी उसी षड्यंत्र की एक कड़ी है। यह उनकी कार्यप्रणाली है। दिल्ली का एक व्यक्ति इन षड्यंत्रकारियों के बीच घुस गया था एवं उनके द्वारा किस प्रकार से लड़कियों को तैयार किया जाता है और क्या-क्या षड्यंत्र चल रहे हैं, उनका स्टिंग ऑपरेशन किया था। उसके बाद इनके षड्यंत्र की पोल खुल गयी थी।
इन सभी षड्यंत्रकारियों के लिए बापू जी ने कई बार जाहिर सत्संग में कहा है और लोगों को सावधान किया है। न्यायालय में वर्ष 2010 में हुए बापू जी के सत्संग की सी.डी. भी चलायी गयी थी, जिसमें बापू जी ने जाहिर में यह बात कही है कि किस तरह से उन्हें फँसाने के लिए लड़कियों को उनके पास भेजा जाता था एवं पैसों के बारे में भी फँसाने का प्रयास किया गया था।
महेन्द्र चावला को वीणा चौहान नामक महिला ने आश्रम में रेकी (मुआयना) करने एवं आश्रम के बारे में जानकारी प्राप्त करने हेतु भेजा था और इसी साजिश के तहत उसने झूठे बयान दिये हैं।
राजू चांडक को गौशाला के पैसों में गबन करने के कारण आश्रम से निकाला गया था।
इसलिए इन लोगों तथा धर्मांतरण वालों ने एकजुट होकर आश्रम के विरुद्ध षड्यंत्र किया।
स्रोतः ऋषि प्रसाद, मई 2015, पृष्ठ संख्या 7,8 अंक 269
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