206 ऋषि प्रसादः फरवरी 2010

सांसारिक, आध्यात्मिक उन्नति, उत्तम स्वास्थ्य, साँस्कृतिक शिक्षा, मोक्ष के सोपान – ऋषि प्रसाद। हरि ओम्।

आरोपों की वास्तविकता


(जनहित में प्रसारित) पिछले कुछ वर्षों से भारतीय संस्कृति के विरोधियों ने संस्कृति के आधारस्तम्भ सतों सत्पुरुषों को विशेषरूप से निशाना बनाना शुरु किया है। संत श्री आसारामजी बापू एवं उनके आश्रम, जो सत्संग के साथ सेवायोग द्वारा मानवमात्र के उत्थान में लगे हैं, उनके पीछे कुछ विधर्मी तत्त्व काफी लम्बे समय से पड़े हुए …

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अधर्मियों का सत्यानाश हो !


इन दिनों प्रातः अनेक टी.वी. चैनलों व समाचार पत्रों में देखने व पढ़ने को मिल रहा है कि संत श्री आसाराम जी बापू पुलिस के पुलिसिया जाल में फँसे हुए हैं। उनके ऊपर गुजरात प्रदेश की पुलिस द्वारा राजू चांडक उर्फ राजू लम्बू के कहने पर गोली मारने व जान लेवा हमले आई.पी.सी. धारा 307 …

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आपका भाव कैसा है ?


(पूज्य बापू जी के सत्संग-प्रवचन से) आप भगवान का स्मरण करोगे तो भगवान आपका स्मरण करेंगे क्योंकि वे चैतन्यस्वरूप हैं। आप पैसों का, बँगले का स्मरण करोगे तो जड़ पैसों का, बँगले का स्मरण करोगे तो जड़ पैसों को, जड़ बँगले को पता नहीं है कि आप उनका स्मरण कर रहे हो। आप गाड़ी का …

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